प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह के समर्थन से शुक्रवार को अपना नामांकन पत्र दाखिल करने वाली द्रौपदी मुर्मू विपक्षी नेताओं तक पहुंचने में व्यस्त हैं। उन्होंने कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के नेता शरद पवार और तृणमूल और बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी से भी बात की है।

मुर्मू - झारखंड की पूर्व राज्यपाल - पहली आदिवासी राष्ट्रपति बनने के लिए तैयार हैं और इसी संदर्भ में वह सोरेन और उनके झारखंड मुक्ति मोर्चा तक पहुंचीं। झामुमो ने राष्ट्रपति चुनाव पर चर्चा के लिए अपने सांसदों और विधायकों की बैठक बुलाई है। मुर्मू को भाजपा शासित राज्यों के मुख्यमंत्रियों का समर्थन मिलेगा; पर्चा दाखिल करने के दौरान योगी आदित्यनाथ, शिवराज चौहान, एमएल खट्टर, जयराम ठाकुर और पीएस धामी सभी मौजूद थे।

इस बीच बसपा ने द्रौपदी मुर्मू को अपना समर्थन दिया है। बसपा सुप्रीमो मायावती ने कहा, बसपा ने आगामी राष्ट्रपति चुनावों में द्रौपदी मुर्मू को समर्थन देने का फैसला किया है, यह ध्यान में रखते हुए कि आदिवासी समाज पार्टी के आंदोलन का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। उन्होंने कहा, यह फैसला भाजपा या एनडीए को समर्थन देने और न ही विपक्षी यूपीए के खिलाफ जाने के लिए लिया गया था। यह हमारी पार्टी और एक सक्षम और समर्पित आदिवासी महिला को देश की राष्ट्रपति बनाने के आंदोलन को ध्यान में रखते हुए किया गया है।

మరింత సమాచారం తెలుసుకోండి: