काशी हिंदू विश्वविद्यालय विज्ञान संस्थान के जंतु विज्ञान विभाग के प्रोफेसर एसके चौबे को बर्खास्त करने की मांग को लेकर शनिवार की शाम विज्ञान संस्थान के छात्र-छात्राओं ने लंका के जाम कर प्रदर्शन किया। छात्र अश्लील हरकत के आरोपी प्रोफेसर एसके चौबे को बीएचयू से बाहर करने की मांग के साथ ही महिला उत्पीड़न आयोग की संस्तुति के तहत निर्भया कांड के समय 2013 में प्रस्तावित महिला उत्पीड़न सेल की स्थापना की भी मांग कर रहे हैं।



लंका गेट पर लाउडस्पीकर के साथ बैठे छात्र विश्वविद्यालय प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी किया। कुलपति को मौके पर बुलाने तथा इस मामले में तत्काल कार्रवाई करने की मांग कर रहे हैं। विश्वविद्यालय सुरक्षा तंत्र गेट पर तैनात है। सुरक्षा को देखते हुए कई थानों की पुलिस भी मंगा लिए गए हैं।



बीएचयू के प्रवक्ता डॉ राजेश सिंह का कहना है कि काशी हिन्दू विश्वविद्यालय विज्ञान संस्थान के जन्तु विज्ञान विभाग के प्रो शैल कुमार चैबे पर इन्क्वायरी कमेटी की रिकमण्डेशन के आधार पर 7 जून 2019 को सम्पन्न कार्यकारिणी परिषद की बैठक में मेजर पेनाल्टी लगायी गयी है। उन्हे अपराधी ठहराया गया है। इसके आधार पर उन्हे भविष्य में विश्वविद्यालय में कोई महत्वपूर्ण प्रशासनिक दायित्व नही दिया जायेगा। वे कभी इस प्रकार के विद्यार्थियो सम्बन्धी गतिविधियो में संलग्न हो सकेगे।



प्रोफेसर चैबे कभी किसी अन्य संस्थान में आवेदन भी नही कर पाएंगे यदि करना भी चाहेगे तो उनका आवेदन स्वीकार नही होगा क्योकि उन पर लगायी गयी पेनाल्टी उनके सर्विस रिकार्ड में डाल दी गयी है।



चौबे के ऊपर विश्वविद्यालय ने सख्त कार्रवाई की है लेकिन छात्र अपनी जिद पर अड़े हुए हैं उनका कहना है कि जब तक मांग पूरी नहीं होगी धरना जारी रहेगा। ज्ञात हो कि वर्ष 2018 में जंतु विज्ञान विभाग का शैक्षणिक टूर पूरी गया था। जहां पर प्रोफेसर एसके चौबे पर अश्लील हरकत करने इशारे करने का आरोप लगा। टूर से लौटने के तुरंत बाद ही छात्राओं ने कुलपति से शिकायत की थी।



इस मामले में आंतरिक जांच कमेटी ने रिपोर्ट दिया इसके आधार पर छात्र-छात्राओं कर्मचारियों व शिक्षकों से पूछताछ हुई। 40 दिन के पूछताछ के बाद कमेटी ने अपना रिपोर्ट कुलपति को सौंपा था ।यह मामला बीएचयू के कार्यकारिणी समिति में भी गया था। कुलपति प्रोफेसर राकेश भटनागर ने प्रोफेसर एसके चौबे को भविष्य में किसी भी प्रशासनिक पद पर आसीन रहने को नहीं रहने दिया जाएगा इस सजा के साथ उन्हें जुलाई में पुनः ज्वाइन कराया। छात्र इस मामले में बर्खास्तगी की मांग कर रहे हैं।



बीएचयू के कुलपति प्रोफेसर राकेश भटनागर शहर से बाहर हैं । छात्र-छात्राओं को समझाने के लिए बीएचयू के रजिस्ट्रार डॉ नीरज त्रिपाठी , चीफ प्रॉक्टर प्रोफेसर ओपी राय, छात्र अधिष्ठाता प्रोफेसर एमके सिंह प्रॉक्टोरियल बोर्ड के सदस्य प्रोफेसर बी सी कापरी पहुंचे लेकिन छात्र मानने को राजी नही हैं।


మరింత సమాచారం తెలుసుకోండి:

bhu