इस पूरे मामले पर जानकारी देते हुए इंदौर के पुलिस अधीक्षक आशुतोष बागरी ने कहा, 'COVID के लगातार बढ़ते मामलों के मद्देनजर, हम लोगों से मास्क पहनने और अगर कोई शख्स पालन नहीं करता है तो मौके पर जुर्माना भी लगा रहे हैं। उसी दिशा में परदेसीपुरा पुलिस 'रोको तोको' कार्यक्रम के तहत अपना काम कर रही थी। तब उस दौरान उन्हें दिखा कि रिक्शा चालक ने मास्क नहीं पहना था। जब उससे पूछताछ की जाने लगी तो वह व्यक्ति अपराधिक दिमाग का पाया गया और उसका इतिहास जबरन वसूली और उसके द्वारा अन्यों पर चाकू भी चलाया गया है।'
उन्होंने आगे बताया कि जब पुलिस ने उसे थाने आने के लिए कहा, तो उसने वहां उत्पात मचाया और पुलिस के साथ हाथापाई शुरू कर दी। वीडियो बनाने वाले व्यक्ति ने वीडियो का पहला हाफ काट दिया और पुलिस की प्रतिष्ठा को खराब करने के इरादे से बाकी के वीडियो को वायरस कर दिया। हालांकि, एसपी ने कहा कि दो पुलिसकर्मियों ने जो कुछ भी किया वह भी अनुचित था और दो पुलिसकर्मी महेश प्रजापति और गोपाल जाट को निलंबित कर दिया गया है।
दूसरी ओर, रिक्शा चालक ने एएनआई को बताया कि वह अपने पिता के लिए भोजन देने इंदौर के महाराजा यशवंतराव (एमवाय) अस्पताल जा रहे थे, जो वहां भर्ती हैं। रिक्शा वाले कृष्ण कुंजिर ने कहा, 'मैं अपने पिता के लिए खाना पहुंचाने के लिए अस्पताल जा रहा था, जो वहां भर्ती हैं। मेरा मास्क मेरी नाक के नीचे थोड़ा ढीला लटका हुआ था जब दो पुलिसकर्मियों ने मुझे थाने आने के लिए कहा। मैंने उनसे अनुरोध किया कि वे मुझे इस समय के लिए जाने दें और कहा कि बाद में खुद वहां आऊंगा।' 'लेकिन, उन्होंने मुझे पीटना शुरू कर दिया। उन्होंने मेरी उस चैन को कसके पकड़ लिया, जिसे मैंने अपने गले में पहना हुआ था। मैं उन्हें जाने देने के लिए कहता रहा लेकिन उन्होंने बात नहीं मानी।'
click and follow Indiaherald WhatsApp channel