उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी की सीएए और एनआरसी टिप्पणी को लेकर उन्हें फटकार लगाई। कानपुर में एक रैली को संबोधित करते हुए, आदित्यनाथ ने ओवैसी को राज्य में शांति और सांप्रदायिक सद्भाव को बाधित करने की कोशिश के खिलाफ चेतावनी देते हुए कहा कि भाजपा सरकार को पता है कि किसे कैसे संभालना है।

मैं उस व्यक्ति को चेतावनी देना चाहता हूं जो सीएए के नाम पर भावनाएं भड़का रहा है, मैं अब्बा जान और चाचा जान के इन प्रचारकों से कहना चाहता हूं कि अगर वे ऐसा करने की कोशिश करते हैं तो राज्य सरकार जानती है कि इसे कैसे सख्ती से संभालना है सख्ती से, आदित्यनाथ ने कहा।

आदित्यनाथ ने तब कहा कि ओवैसी अखिलेश यादव की समाजवादी पार्टी के साथ हाथ हाथ मिलाये हुए है। आदित्यनाथ ने कहा, आज, हर व्यक्ति जानता है कि ओवैसी समाजवादी पार्टी के एजेंट के रूप में काम कर रहे हैं जो राज्य में भावनाओं को भड़काना चाहते हैं। आज की सरकार दंगाइयों की रक्षा नहीं करती है बल्कि उनके सीने पर बुलडोजर चलाती है।

ओवैसी ने रविवार को उत्तर प्रदेश के बाराबंकी में एक जनसभा को संबोधित करते हुए नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) और राष्ट्रीय नागरिक रजिस्टर (एनआरसी) को निरस्त करने की मांग की और चेतावनी दी कि अगर दोनों कानूनों को खत्म नहीं किया गया तो प्रदर्शनकारी सड़कों को शाहीन बाग में बदल देंगे। सीएए संविधान के खिलाफ है। अगर भाजपा सरकार इस कानून को वापस नहीं लेती है, तो हम सड़कों पर उतर आएंगे और यहां एक और शाहीन बाग बन जाएगा, एआईएमआईएम प्रमुख ने कहा था।

दिल्ली का शाहीन बाग सीएए और एनआरसी के विरोध का केंद्र रहा। विरोध स्थल, जहां सीएए के खिलाफ आंदोलन के लिए सैकड़ों महिलाओं ने कई महीनों तक डेरा डाला था, दिल्ली पुलिस ने पिछले साल  कोविद-19 के कारण इस जगह को खाली करवा दिया था।

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