तेजस्वी ने यह भी स्पष्ट किया कि, “वह (तेज प्रताप) बालिग हैं और अपने फैसले लेने के लिए स्वतंत्र हैं। लालू जी ने जो कहा है, वह उनके भावनाओं का प्रतिबिंब है। हमें मीडिया के जरिए तेज प्रताप की पार्टी से निकाले जाने की जानकारी मिली। किसी के निजी जीवन में क्या हो रहा है, यह पहले से बताया नहीं जाता।”
लालू यादव का कड़ा बयान:
लालू यादव ने अपने लिखित बयान में कहा, “व्यक्तिगत जीवन में नैतिक मूल्यों की अनदेखी हमारी सामाजिक न्याय की सामूहिक लड़ाई को कमजोर करती है। मेरे बड़े पुत्र का व्यवहार, सार्वजनिक आचरण और गैर-जिम्मेदाराना गतिविधियां हमारे पारिवारिक मूल्यों और परंपराओं के अनुरूप नहीं हैं। इसलिए उन्हें पार्टी और परिवार से छह वर्षों के लिए बाहर किया जा रहा है।”
उन्होंने आगे लिखा, “वह अब पार्टी में कोई जिम्मेदारी या भूमिका नहीं निभाएंगे। वह खुद तय करें कि उनके लिए क्या सही है और क्या गलत। जो लोग उनके साथ रहना चाहते हैं, यह उनका व्यक्तिगत निर्णय है। मैंने हमेशा सार्वजनिक जीवन में गरिमा को महत्व दिया है, और मेरे आज्ञाकारी पारिवारिक सदस्य भी इस परंपरा का पालन करते आए हैं।”
फेसबुक पोस्ट से बढ़ा विवाद:
तेज प्रताप यादव ने शनिवार शाम फेसबुक पर एक महिला के साथ अपनी फोटो साझा की और लिखा, “मैं तेज प्रताप यादव हूं और मेरे साथ तस्वीर में जो हैं, उनका नाम अनुष्का यादव है। हम पिछले 12 सालों से एक-दूसरे को जानते हैं और हमारे बीच संबंध हैं। मैं लंबे समय से यह बात आप सब से साझा करना चाहता था, लेकिन समझ नहीं आ रहा था कैसे। आज इस पोस्ट के ज़रिए अपनी भावनाएं व्यक्त कर रहा हूं, उम्मीद है आप समझेंगे।”
यही पोस्ट विवाद की जड़ बन गई, जिसके बाद यह बड़ा राजनीतिक और पारिवारिक भूचाल सामने आया।
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