नरेंद्र मोदी सरकार की तमाम कोशिशों के बावजूद उम्‍मीद के मुताबिक  माल एवं सेवा कर (जीएसटी) कलेक्‍शन नहीं हो सका है. इन हालातों में सरकार की ओर से एक खास पहल की गई है.


दरअसल, सरकार ने जीएसटी लॉटरी योजना की शुरुआत की है. इस योजना के तहत 10 लाख रुपये से 1 करोड़ रुपये तक का इनाम देने की पेशकश की जाएगी.


इसकी जानकारी देते हुए केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर एवं सीमा शुल्क बोर्ड (CBIC) के सदस्य जॉन जोसफ ने बताया कि जीएसटी के प्रत्येक बिल पर ग्राहक को लॉटरी जीतने का मौका मिलेगा. इससे ग्राहक टैक्‍स  चुकाने को प्रोत्साहित होंगे.

 

जोसफ ने कहा, ‘‘हम एक नई लॉटरी प्रणाली लेकर आए हैं. जीएसटी के तहत प्रत्येक बिल पर लॉटरी जीती जा सकेगी. इसका ड्रॉ निकाला जाएगा. लॉटरी का मूल्य इतना ऊंचा है कि ग्राहक यही कहेगा कि 28 फीसदी की ‘बचत’ नहीं करने पर मेरे पास 10 लाख रुपये से एक करोड़ रुपये जीतने का मौका होगा. यह ग्राहक की आदत में बदलाव से जुड़ा सवाल है.’’

 

योजना के तहत, खरीदारी के बिलों को पोर्टल पर अपलोड किया जाएगा. लॉटरी ड्रा कंप्यूटर प्रणाली के जरिए अपने आप होगा. विजेताओं को इसकी सूचना दी जाएगी. जीएसटी प्रणाली के तहत चार टैक्‍स स्लैब 5, 12, 18 और 28 फीसदी हैं.

 

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की अगुवाई वाली जीएसटी परिषद प्रस्तावित लॉटरी योजना की समीक्षा करेगी. परिषद यह भी फैसला करेगी कि इस योजना के तहत न्यूनतम बिल की सीमा क्या हो.

 

योजना के अनुसार लॉटरी विजेताओं को पुरस्कार उपभोक्ता कल्याण कोष से दिया जाएगा. इस कोष में मुनाफाखोरी रोधक कार्रवाई से प्राप्त राशि को ट्रांसफर किया जाता है.

 

 

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